“ख़्वाब भले टूटते रहे मगर “हौंसले”
फिर भी ज़िंदा हो
“हौसला ” अपना ऐसा रखो जहाँ
मुश्किलें भी शर्मिंदा हो !!””………
*??????.
सुप्रभात
“ख़्वाब भले टूटते रहे मगर “हौंसले”
फिर भी ज़िंदा हो
“हौसला ” अपना ऐसा रखो जहाँ
मुश्किलें भी शर्मिंदा हो !!””………
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